फुकुशिमा परमाणु ईंधन का मलबा हटाने का काम रोका गया

टोक्यो, 22 अगस्त (आईएएनएस)। टोक्यो इलेक्ट्रिक पावर कंपनी (टेपको) ने आपदाग्रस्त फुकुशिमा दाइची परमाणु संयंत्र के एक क्षतिग्रस्त रिएक्टर से परमाणु ईंधन मलबे को निकालने की तैयारी का काम रोक दिया है।

समाचार एजेंसी शिन्हुआ की रिपोर्ट के अनुसार, टेपको गुरुवार को फुकुशिमा प्रान्त में स्थित संयंत्र की नंबर-2 इकाई से पिघले ईंधन की कुछ मात्रा निकालने की तैयारी में था। लेकिन तैयारी के दौरान मलबा निकालने वाले उपकरण में त्रुटि पाई गई।

कंपनी ने यह नहीं बताया है कि वह दोबारा कब प्रयास करेगी। उल्लेखनीय है कि तैयारी एक दिन के भीतर फिर से शुरू नहीं हो सकती।

फुकुशिमा परमाणु संयंत्र के भीषण भूकंप और सुनामी से तबाह हो जाने के बाद साढ़े 13 साल में ईंधन के मलबे को निकालने का यह पहला प्रयास है।

योजना के अनुसार, टेपको का लक्ष्य ग्रिपर टूल से लैस एक दूरबीन डिवाइस का उपयोग करके तीन ग्राम तक मलबे को निकालना है। यह डिवाइस 22 मीटर की दूरी तक ऑपरेट कर सकती है और प्राइमरी कंटेनमेंट वेसेल में एक प्रवेश बिंदु के माध्यम से मलबे तक पहुंच सकती है।

जापान के उत्तर-पूर्व में 11 मार्च 2011 को आए 9.0 तीव्रता के भूकंप और उसके बाद आई सुनामी के कारण टेपको द्वारा संचालित फुकुशिमा परमाणु संयंत्र में कोर पिघल गया था, जिसके परिणामस्वरूप लेवल-7 की परमाणु दुर्घटना हुई, जो अंतर्राष्ट्रीय परमाणु और रेडियोलॉजिकल घटना पैमाने पर सबसे अधिक थी।

दुर्घटना में कोर पिघलने से प्रभावित तीन रिएक्टरों, रिएक्टर संख्या-1, 2 और 3 – में से, टेपको ने ईंधन के मलबे की पुनर्प्राप्ति का काम शुरू करने के लिए नंबर-2 रिएक्टर को सबसे पहले चुना। इसका रिएक्टर भवन ही एकमात्र ऐसा था, जिसमें हाइड्रोजन विस्फोट नहीं हुआ था।

तीनों रिएक्टरों में अनुमानित 880 टन ईंधन का मलबा बचा हुआ है। घातक मलबे को प्रायोगिक तौर पर हटाने की योजना पहले 2021 में बनाई गई थी, लेकिन कोविड महामारी और तकनीकी कठिनाइयों के कारण इसे तीन बार टाल दिया गया।

–आईएएनएस

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