वित्त वर्ष 2020-21 की तुलना में वित्त वर्ष 2021-22 में आयकर रिटर्न (income tax return/ITR) की संख्या में वृद्धि हुई है। केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड यानी सीबीडीटी की अध्यक्ष संगीता सिंह (Sangeeta Singh, CBDT chairperson) ने कहा बोर्ड कर संग्रह में वृद्धि देख रहा है और यह स्थिति सामान्यतः पर तब देखी जाती है जब देश में आर्थिक विकास तेजी की राह पर हो। सीबीडीटी की अध्यक्ष ने कहा कि पिछले वित्त वर्ष में आयकर रिटर्न की संख्या 7.14 करोड़ थी, जो उसके एक साल पहले 6.9 करोड़ थी।
प्रधानमंत्री की इस पहल से लोग जमकर भर रहे टैक्स
सिंह ने कहा कि डिजिटल इंडिया (Digital India) की दिशा में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi) की पहल के कारण सीबीडीटी टैक्स के भुगतान में भी वृद्धि देख रहा है। सीबीडीटी अध्यक्ष के अनुसार वित्त वर्ष 2021-22 में कर संग्रह 14 लाख करोड़ रुपये से अधिक का हुआ है जो वित्त वर्ष 2019-20 के कर संग्रह की तुलना में काफी बेहतर है। उन्होंने कहा कि कोविड-19 महामारी के दौरान लोगों ने अधिक डिजिटल भुगतान करना शुरू किया है। उन्होंने कहा कि करदाताओं को सूचनाएं देने की पहल, उन्हें समय पर करों का भुगतान करने के बारे में जागरूक बनाने में भी योगदान दे रही है। सिंह ने यह भी कहा कि हमने हाल के वर्षों में बड़े पैमाने पर डिजिटलीकरण भी किया है।
इस बात से मिले अर्थव्यवस्था में तेजी के संकेत
सीबीडीटी अध्यक्ष संगीता सिंह ने कहा कि यदि आर्थिक गतिविधियां बढ़ रही हों तो खरीद-बिक्री में भी इजाफा होगा और जाहिर तौर पर जब तक अर्थव्यवस्था नहीं बढ़ती है, तब तक टैक्स की मात्रा में वृद्धि नहीं हो सकती है। ऐसे में टैक्स संग्रह का बढ़ानी आर्थिक तेजी के संकेत दे रहा है।