सरकारी क्षेत्र के बैंक ऑफ बड़ौदा का मार्च, 2022 को समाप्त वित्त वर्ष में शुद्ध लाभ 9 गुना बढ़कर 7,272.28 करोड़ रुपये पर पहुंच गया, जो वित्त वर्ष 2020-21 में 828.95 करोड़ रुपये रहा था। हालांकि, समाप्त वित्त वर्ष के दौरान उसकी कुल आय घटकर 81,364.73 करोड़ रुपये रह गयी जो इससे एक साल पहले 83,429 करोड़ रुपये रहा था।
सरकारी क्षेत्र के बैंक ऑफ बड़ौदा का मार्च, 2022 को समाप्त वित्त वर्ष की चौथी तिमाही में शुद्ध लाभ 1,779 करोड़ रुपये पर पहुंच गया। बैंक को वित्त वर्ष 2020-21 की समान तिमाही में 1,047 करोड़ रुपये का शुद्ध घाटा हुआ था। बैंक ऑफ बड़ौदा (बीओबी) ने शुक्रवार को शेयर बाजारों को भेजी सूचना में कहा कि वित्त वर्ष 2021-22 की जनवरी-मार्च अवधि में उसकी कुल आय गिरकर 20,695.90 करोड़ रुपये रही। वित्त वर्ष 2020-21 की इसी अवधि में यह 21,501.94 करोड़ रुपये रही थी।
संपत्ति की गुणवत्ता के आधार पर बीती तिमाही में बैंक का सकल एनपीए 6.61 प्रतिशत रहा, जो वित्त वर्ष 2020-21 की समान अवधि में 8.87 प्रतिशत रहा था। मूल्य के संदर्भ में मार्च, 2022 की समाप्त तिमाही में बैंक का सकल एनपीए घटकर 54,059 करोड़ रुपये रहा। वित्त वर्ष 2020-21 की समान अवधि में यह 66,671 करोड़ रुपये रहा था। बीती तिमाही में बैंक का शुद्ध एनपीए भी घटकर 13,365 करोड़ रुपये रह गया, जबकि इससे एक साल पहले की इसी अवधि में यह 21,780 करोड़ रुपये रहा था। बैंक ऑफ बड़ौदा ने कहा कि उसके निदेशक मंडल ने वित्त वर्ष 2021-22 के लिए शेयरधारकों को प्रति शेयर 1.20 रुपये का लाभांश देने की सिफारिश की है।