‘आप वहां थे भी नहीं’, नीति आयोग को लेकर जयराम रमेश के दावे पर बोलीं वित्त मंत्री

नई दिल्ली, 27 जुलाई (आईएएनएस)। केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने शनिवार को सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर नीति आयोग की बैठक को लेकर कांग्रेस नेता जयराम रमेश की टिप्पणी के लिए उनकी आलोचना की। रमेश ने नीति आयोग के गवर्निंग काउंसिल की आज यहां हुई बैठक में पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के साथ कथित व्यवहार को “अस्वीकार्य” बताया था।

रमेश ने एक्स पर लिखा, “10 साल पहले जब से नीति आयोग की स्थापना हुई है, तब से यह पीएमओ का एक संलग्न कार्यालय रहा है और पीएम के लिए ढिंढोरा पीटने का काम करता रहा है।

“इसने किसी भी तरह से सहकारी संघवाद को आगे बढ़ाने में योगदान नहीं दिया है। इसका कामकाज स्पष्ट रूप से पक्षपातपूर्ण रहा है, और यह पेशेवर तथा स्वतंत्र बिलकुल भी नहीं रहा है।”

कांग्रेस नेता ने आरोप लगाया, “यह (नीति आयोग) सभी अलग और असहमतिपूर्ण दृष्टिकोणों को दबा देता है, जो एक खुले लोकतंत्र का सार है। इसकी बैठकें एक तमाशा हैं। आज पश्चिम बंगाल की सीएम के साथ इसका व्यवहार हालांकि नीति आयोग के अनुरूप है, लेकिन अस्वीकार्य है।”

वित्त मंत्री सीतारमण ने इसका जवाब देते हुए कहा कि रमेश बैठक में मौजूद ही नहीं थे। उन्होंने स्पष्ट किया कि ममता बनर्जी ने प्रत्येक मुख्यमंत्री को आवंटित पूरे सात मिनट तक अपनी बात रखी।

उन्होंने यह भी कहा कि कुछ मुख्यमंत्रियों को उनके अनुरोध पर अतिरिक्त समय दिया गया था, और किसी को कोई शिकायत नहीं थी।

वित्त मंत्री ने एक्स पर लिखा, “जयराम, आप वहां थे ही नहीं! हम सभी ने माननीय सीएम ममता बनर्जी को सुना। उन्होंने अपने पूरे समय में अपनी बात रखी। हमारी टेबल के सामने लगी स्क्रीन पर समय दिखाया जाता रहा।”

उन्होंने आगे लिखा, “कुछ अन्य मुख्यमंत्रियों ने अपने आवंटित समय से अधिक समय तक बात की। उनके अनुरोध पर, बिना किसी शोर-शराबे के अतिरिक्त समय दिया गया। माइक बंद नहीं किए गए, किसी के लिए नहीं, खासकर पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री के लिए भी नहीं।”

वित्त मंत्री ने ममता बनर्जी पर माइक के बारे में गलत जानकारी फैलाने का भी आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि कभी किसी का माइक्रोफोन बंद नहीं किया गया।

उन्होंने कहा कि ममता बनर्जी का दावा केवल ‘इंडिया’ ब्लॉक को खुश करने का एक प्रयास था।

इससे पहले, दिन में बनर्जी ने दावा किया कि उन्हें नीति आयोग की बैठक के दौरान बोलने के लिए पर्याप्त समय नहीं दिया गया था और उनका माइक बंद कर दिया गया था।

–आईएएनएस

एकेजे/